ऑनलाइन ट्रेडिंग फ्रॉड से भारतीय बार-बार क्यों फंस रहे? जानें और बचें करोड़ों की ठगी से
ऑनलाइन ट्रेडिंग फ्रॉड से भारतीय बार-बार क्यों फंस रहे? जानें और बचें करोड़ों की ठगी से
Online Trading: भारत में ऑनलाइन ट्रेडिंग स्कैम अब सबसे तेजी से बढ़ते साइबर अपराधों में से एक है। ठग प्रोफेशनल दिखने वाले नकली ऐप्स, वेबसाइट्स, WhatsApp/Telegram ग्रुप्स और मशहूर हस्तियों की तस्वीरों का इस्तेमाल कर लोगों को फंसाते हैं। वे 100% तक रिटर्न का लालच देते हैं, जिससे लोग जल्दी भरोसा कर लेते हैं।
शुरुआत में थोड़े निवेश पर नकली मुनाफा दिखाया जाता है, कभी-कभी बैंक अकाउंट में पैसा भी भेजा जाता है ताकि भरोसा बने। लेकिन जैसे ही लोग बड़ी रकम लगाते हैं, ठग गायब हो जाते हैं और पैसा वापस मिलना लगभग असंभव हो जाता है।
ठगी कैसे होती है?
नकली ऐप्स और वेबसाइट्स – असली ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म जैसी कॉपी बनाते हैं, जो झूठा मुनाफा दिखाकर ज्यादा निवेश करने पर मजबूर करती है।
फर्जी WhatsApp/Telegram ग्रुप्स – यहां नकली सफलता की कहानियां शेयर होती हैं, और ग्रुप के ज्यादातर लोग ठगों के साथी होते हैं।
सेलिब्रिटी का नाम और फोटो – बड़े बिजनेस आइकन या क्रिकेटर्स की तस्वीरों का गलत इस्तेमाल कर भरोसा जीतते हैं।
गैर-यथार्थवादी रिटर्न – 5-10% रोज़ाना मुनाफे का झांसा देते हैं, जो असली ट्रेडिंग में संभव नहीं।
लोग क्यों फंस जाते हैं?
वरिष्ठ नागरिक और अनुभवहीन निवेशक अक्सर जोखिम नहीं समझ पाते।
कोविड के बाद जल्दी पैसा कमाने की चाह बढ़ी है।
ऐप या वेबसाइट की असलियत जांचने की आदत कम है।
ग्रुप में दूसरों को मुनाफा कमाते देख खुद भी निवेश करने लगते हैं।
कैसे बचें इस ठगी से?
केवल SEBI-रजिस्टर्ड प्लेटफॉर्म (जैसे Zerodha, Groww, Upstox) का इस्तेमाल करें।
ऐप डाउनलोड करने से पहले रेटिंग, रिव्यू और डेवलपर डिटेल्स जरूर चेक करें।
अत्यधिक मुनाफे के लालच में न आएं।
अनजान लिंक या ऐप पर PAN, Aadhaar, बैंक डिटेल्स न डालें।
फ्रॉड की सूचना cybercrime.gov.in या नजदीकी साइबर पुलिस स्टेशन में दें।
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